कल दरभंगा तमाम राष्ट्रीय चैनलों की सुर्खियां बन सकता था...कल दरभंगा पर तमाम राष्ट्रीय चैनलों पर प्राइम टाइम में डिबेट चल सकता था...कल दरभंगा तमाम बड़े-बड़े हिंदी अखबार और अंग्रेजी अखबार के पहले पन्ने पर जगह पा सकता था...कल दरभंगा की घटना को लेकर प्रधानमंत्री, मुख्यमंत्री, विपक्षी नेता, ट्विट दाग सकते थे।
कल दरभंगा में जो कुछ हुआ उसके बाद बड़े-बड़े नेताओं का अमला जल्द से जल्द दरभंगा कूच कर सकता था...लेकिन ऐसा कुछ भी देखने को मिला...तमाम मसाला था...दिन दहाड़े एक युवक को जिंदा जलाने का प्रयास किया गया...जमीन विवाद का मामला था...दबंगों ने जमीन विवाद में एक युवक को जिंदा जलाने का प्रयास किया...मगर जानते हैं ये सब कुछ देखने को क्यों नहीं मिला..
.क्योंकि कसूर इनकी जाति का है...ब्राम्हण हैं मनोज चौधरी और इसलिए मीडिया ने मुंह मोड़ लिया...नेताओं को ये इंटरेस्टिंग टॉपिक नहीं लगा....तमाम बौद्धिक, प्रखर पत्रकारों को ये मुद्दा सोशल मीडिया के लिए शायद इसलिए तर्क संगत नहीं लगा...लानत है ऐसी भ्रष्ट सोच पर....हमारे देश में जाति ही सबसे बड़ी पहचान है...और इस हमाम में सभी राजनीतिक दल...तमाम मीडिया हाउस नंगे हैं। शर्म--शर्म...शर्म...
Nitish Kumar Lalu Prasad YadavTejashwi Yadav Sushil Kumar Modi Giriraj Singh Ram Vilas Paswan राधा मोहन सिंह Radha Mohan Singh Samir Mahaseth #दरभंगा #बिहार Narendra Modi PMO India
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